मछली की इच्छा

गोबर बीनकर घर लौटती हुई
लड़कियाँ का उत्साह या गरमाहट
क्या सूरज सोख लेता है

आज सूरज
पहले से ज्यादा रक्ताभ है।

लड़कियों के चेहरे
अब नदी नहीं हैं-
मछलियों का कुछ अता-पता नहीं
मछलियां अब नदी छोड़कर
लड़कियों के टोकरों में
छिप गयी हैं-
मछुआरों से बच जाने के लिए।

मछलियाँ खुश हैं कि
वे अब चुपचाप चूल्हों पर पक जायेंगी
लड़कियों को फिर से
रक्ताभ बनाने के लिए।

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